मेडिकल कॉलेज की बिजली हुई गुल , एक नवजात की मौत, परिजनों ने लापरवाही का लगाया आरोप
कोरबा(कोरबा वाणी)-बुधवार-गुरुवार की दरमियानी रात बिजली गुल होने से कोरबा मेडिकल कॉलेज सह जिला अस्पताल के, SNCU वार्ड में भर्ती बच्चे की हालत बिगड़ गई। देर रात duty डॉक्टर ने परिजनों से बीमार बच्चे को रेफर करवा कर, दूसरी जगह जाने की सलाह दी. इस दौरान बच्चे की मौत हो गई। परिजनों ने लापरवाही का आरोप लगाते हुए, बच्चे की मौत के लिए मेडिकल कॉलेज सह जिला अस्पताल प्रबंधन को जिम्मेदार बताया। वहीं अस्पताल प्रबंधन आरोपों को एक नकार रहा है.
दरअसल मेडिकल कॉलेज सह जिला अस्पताल मे बुधवार-गुरुवार की दरमियानी रात एसएनसीयू (सिक नियोनेटल केयर यूनिट) वार्ड की बिजली गुल हो गई। इससे आक्सीजन का प्रवाह रूकने से तीन बच्चों की हालत बिगड़ गई। देर रात ड्यूटी मे तैनात महिला डॉक्टर ने परिजनों से, बीमार बच्चों को दूसरे अस्पताल में रेफर कर देने की सलाह दी। तत्काल दो बच्चों को इलाज के लिए बिलासपुर व कोरबा के निजी हॉस्पिटल में भर्ती किया गया लेकिन इस बीच, दीपका निवासी अमित कुमार के बेटे की मौत हो गई। बच्चे की मौत के बाद परिजनों ने मेडिकल कॉलेज प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप लगाया है.
इस मामले पर कॉलेज के डीन ने आरोपों को नकारते कहा कि, बिजली गुल जरूर हुई है लेकिन वेंटिलेटर में ढाई घंटे का बैकअप है जिससे ऑक्सीजन का प्रवाह नहीं रुका है, बच्चा पहले से कमजोर था इसलिए मौत हुई.
गौरतलब है की मेडिकल कॉलेज खुल जाने के बाद जिला अस्पताल के स्वास्थ्य सुविधाओं में इजाफा होने के दावे किए जा रहे थे। लेकिन धरातल में दिख नहीं रहा है। दूसरी ओर यहां के चिकित्सकीय सुविधा पर भी सवाल उठने लगे हैं। सवाल उठना भी लाजमी है क्योंकि मेडिकल कॉलेज में भारी-भरकम जनरेटर रखा हुआ है, जो कई महीनों से बंद पड़ा है यदि उसकी मरम्मत हुई होती और वह कार्य कर रहा होता, तो बिजली गुल होने की भी स्थिति में मशीनें कार्य कर रही होती जिससे नवजात की जान नहीं जाती.