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केंद्रीय मंत्री गिरिराज ने जिपं सीईओ नूतन कंवर को फटकारा और यार..भी कहा

कोरबा वाणी -केन्द्र की भाजपा सरकार के मंत्री केन्द्रीय योजनाओं के क्रियान्वयन की समीक्षा करने राज्यो में पहुंच रहे हैं खासकर वे राज्य जहां 2023 में विधानसभा चुनाव होने हैं.केन्द्र सरकार यह देखना चाहती हैं कि योजनाओं का लाभ आमजनों को मिल रहा हैं कि नहीं, दरअसल यह तो एक समीक्षा बैठक तो एक बहाना हैं वास्तविकता यह हैं कि खामियां निकाल कर राज्य सरकार को घेरना हैं खास करके जिस राज्य में भाजपा की सरकार नहीं हैं. देखा जाए तो भाजपा का केन्द्रीय नेतृत्व छत्तीसगढ़ को लेकर काफी गंभीर हैं.यहां सत्ता कांग्रेस के पास हैं.देखा जाए तो भाजपा 2023 के विधानसभा चुनाव के मद्देनजर चुनावी मूड में आ गई हैं. केन्द्र के मंत्रियों और नेताओं का लगातार दौरा छत्तीसगढ़ में हो रहा है जो प्रदेश के अलग अलग जिले में जा रहे हैं.

केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह का कोरबा तीन दिवसीय दौरा इसी तारतम्य में देखा जा सकता हैं।
केंद्रीय पंचायत मंत्री गिरिराज सिंह के निशाने पर आज जिला पंचायत सीईओ नूतन सिंह कंवर रहे.सीईओ की ऐसी क्लास लगाई की दूसरे अधिकारियों के पसीने छूटने लगे।आज केन्द्रीय मंत्री ने कोरबा में जिला पंचायत सभागृह में प्रशासन की समीक्षा बैठक शामिल हुए. योजनाओं की समीक्षा करते वक्त जब राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता वाली योजना नरवा, गरवा की बात आई, तब उन्होंने जिला पंचायत सीईओ नूतन सिंह कंवर को निशाने में ले लिया।
योजनाओं की चर्चा के दौरान केंद्रीय मंत्री के ठीक बगल में बैठे पूर्व गृह मंत्री ननकीराम कंवर ने आरोप लगाया कि राज्य सरकार के गौठानो में केंद्र सरकार का पैसा लग रहा है. मैंने इसकी शिकायत राज्यपाल से भी की है. इस पर केंद्रीय मंत्री गिरिराज ने जिला पंचायत सीईओ से पूछ लिया कि आपने वित्त आयोग के पैसे को गौठान में कैसे खर्च कर दिए? जिला पंचायत सीईओ नूतन सिंह कंवर सफाई में कुछ कहने लगे. इसपर मंत्री गिरिराज बिफर पड़े और कहा कि “कागज में तो आपने पूरा खेल कर ही दिया है, अब कम से कम चुप तो रहिये.”
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि, “मैं बताता हूं क्या किया होगा? पहले उन्होंने पंचायत के अकाउंट में पैसा डाला होगा, वहां से फिर पैसे को रिवर्स ले लिया होगा, क्यों यही किया है न? बताओ वित्त आयोग की पैसे कैसे खर्च कर दिए…?” इसपर जिला पंचायत सीईओ नूतन कंवर ने प्रत्युत्तर में कहा, “ग्राम पंचायत के सरपंच, सचिव सक्षम हैं.वह प्रस्ताव पारित कर खर्च कर सकते हैं.”
मंत्री ने फिर सीईओ को लताड़ते हुए कहा कि “यार…मैं भी देश घूम रहा हूं. मैं अपोजिशन और रुलिंग सभी राज्यों में घूम रहा हूं. ऐसा कहीं नहीं है, हर राज्य के सरपंच का खाता है. कॉमन सर्विस सेंटर के जरिए सरपंचों का खाता अटैच रहता है. कई बार तो सरपंच मुझसे कहते हैं. मुझसे बिना पूछे हुए पैसा ट्रांसफर कर दिया है.” “सीईओ कंवर फिर कहने लगे, “डीएससी अवेलेबल है, सर वह कर सकते हैं.खुद अपना पैसा वह जहां चाहे ट्रांसफर कर सकते हैं.”